झाबुआ

वंदनीय है, टंट्या संत ,
सत् सत् प्रणाम

आदिवासी झाबुआ की
पावन भूमि पर
जन्म लिए
महान कार्य से
आदिवासी पिछड़े अंचल को
सदा ही, सभी को साथ लेकर
उनकी पीड़ा ,दर्द को दूर करते हुए
उनकी गरीबी और समस्या को
सदा ही अपनी पूजा
अर्चना मान कर लगे रहे
महान कार्य और कर्म से
सदा ही सभी को
सुख और सुकून देते हुए
जिंदगी को व्यतीत करते
महान संत टंट्या भील
आज सभी के दिल में
सदा ही आदर से प्यार से
सम्मान से विराजमान हो
पथ प्रदर्शक बन
प्रेरणा स्त्रोत बने हुए हैं
सचमुच गरीबों के
अद्भुत मसीहा टंट्या संत
आज के इस
स्मरण दिवस पर
आपके जीवन का अद्भुत रूप
सभी को प्रेरणा देता हुआ सदा ही
अच्छी सोच चिंतन से
झाबुआ जिले की पावन भूमि को
सार्थक करता हुआ हैं
धन्य हैं झाबुआ जिले का रंग
रूप सादगी सहजता और सरलता वंदनीय है सदा ही वंदनीय
यह सब कुछ संभव हुआ
इस पवन पवित्र भूमि पर
आप जैसे महान संत टंट्या भील
आपके मार्ग दर्शन से
आज के स्मरण दिवस पर
यह भूमि झाबुआ जिला
याद करते हुए सदा
आपको सादर प्रणाम करता है और
जीवन दर्शन को समेटे कर्मशील रह
सदा ही सभी को साथ लेकर
सभी को अपना समझ
उनके दुखों में साथ दे
चलने का प्रण करता है
प्रणाम, सत् सत् प्रणाम
तेरे दिल को
कर्म और सरलता को
सत् कर्मों की अद्भुत साधना तपस्या को सत् सत् प्रणाम

💐💐डॉ रामशंकर चंचल
झाबुआ मध्य प्रदेश💐💐

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